अधिकारियों के द्वारा रविवार को बताया गया कि हरिद्वार में गंगा का वाटर लेवल वार्निंग 293 मीटर को पार कर गया है वह इस समय 293.15 मीटर तक पहुंच गया है।
पिछले कुछ दिनों से उत्तराखंड के गढ़वाल रीजन में भारी बारिश एवं भूस्खलन हो रहा है. जिसके कारण से अलकनंदा का जलस्तर भी बड़ा है. रविवार को श्रीनगर बांध से भारी मात्रा में पानी छोड़ा गया है. जिसके बाद से गंगा देवप्रयाग में खतरे के निशान से ऊपर एवं हरिद्वार में चेतावनी स्तर को पार कर चुकी है।
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अधिकारियों के द्वारा बताया गया है कि नदी में पानी के बढ़ते स्तर को देखते हुए निचले इलाकों में अलर्ट जारी कर दिया गया है।
राज्य आपदा परिचालन केंद्र के द्वारा हरिद्वार के जिला मजिस्ट्रेट धीरज सिंह को भीमगोड़ा बैराज के गेट नंबर 10 की शीघ्र अति शीघ्र मरम्मत करने का निर्देश दिया है ताकि टूटे हुए इस गेट से तेज गति से बहने वाले पानी के कारण किसी भी होने वाले भारी नुकसान को रोका जा सके। जबकि यह के मरम्मत करने के लिए प्रस्तावित रखा गया था।
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गंगा 463.20 मीटर के जलस्तर पर बह रही थीं जिसके पश्चात संगम घाट, रामकुंड, धनेश्वर घाट एवं फुलाड़ी घाट में काफी पानी भर गया. अधिकारियों के द्वारा बताया गया है कि अलकनंदा नदी (Alaknanda River) पर बने जीवीके जलविद्युत परियोजना (GVK hydroelectric project) के बांध से 2,000-3,000 क्यूसेक(2,000-3,000 cusecs) पानी छोड़े जाने के बाद गंगा के जलस्तर में भी जबरदस्त उछाल आया.
टिहरी जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी (Tehri District Disaster Management officer) ब्रिजेश भट्ट ने कहा कि जिला प्रशासन के द्वारा लोगों को नदी के किनारों से दूर रहने की चेतावनी लगातार फोन एवं अन्य साधनों से दी जा रही है।
अधिकारियों ने बताया कि ऋषिकेश में मुनी की रेती क्षेत्र में गंगा का जलस्तर बढ़कर 339.60 मीटर हो गया है , यह अपने चेतावनी स्तर से .10 मीटर अधिक है।
पिछले कुछ दिनों में उत्तराखंड एवं हरिद्वार जिले में बहुत अधिक बारिश होने के कारण से खानपुर, लक्सर, रुड़की, हरिद्वार एवं भगवानपुर तहसील के 71 से अधिक गांव में बाढ़ जैसी स्थिति बनी हुई है।
राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (NDRF), राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल (SDRF), सेना और राज्य पुलिस की मदद से बचाव और राहत अभियान चलाया जा रहा है।
उन्होंने बताया कि चमोली जिले के जोशीमठ में नीती घाटी में गिरथी गंगा नदी में मलबा और अतिरिक्त पानी आने के कारण जोशीमठ-मलारी सड़क पर एक पुल का पुश्ता क्षतिग्रस्त हो गया।
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आपदा प्रबंधन विभाग के अनुसार, इस पुल का उपयोग केवल सेना और भारत-तिब्बत सीमा पुलिस द्वारा किया जाता था।
देहरादून मौसम विज्ञान केंद्र के द्वारा सोमवार को उत्तराखंड के सभी 13 जिलों में भारी बारिश की चेतावनी देते हुए ‘ऑरेंज’ अलर्ट (Orange Alert) जारी किया है।
इस बीच, पिथौरागढ़ के धारचूला क्षेत्र में काली नदी का जलस्तर भी चेतावनी स्तर 889 मीटर से ऊपर बह रहा है।